मोक ड्रिल : सीमा से सटे राज्यों में सिविल डिफेंस मॉक ड्रिल स्थगित, इस कारण लिया गया फैसला… पढ़े पूरी खबरें.. Published by: Tarun Kumar…

Mock Drill: सीमा से सटे राज्यों में सिविल डिफेंस मॉक ड्रिल स्थगित, इस कारण लिया गया फैसला
पाकिस्तान से सटे सीमावर्ती राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों में प्रस्तावित सिविल डिफेंस एक्सरसाइज को फिलहाल स्थगित कर दिया है। पढ़िये एनसीएफबी न्यूज़ की पूरी रिपोर्ट
नई दिल्ली: केंद्र सरकार ने पाकिस्तान से सटे सीमावर्ती राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों में प्रस्तावित सिविल डिफेंस एक्सरसाइज को फिलहाल स्थगित कर दिया है। यह अभ्यास ऑपरेशन शील्ड के तहत गुजरात, राजस्थान, पंजाब, हरियाणा और केंद्र शासित प्रदेश जम्मू-कश्मीर में आयोजित होने वाला था। इन राज्यों की सरकारों ने स्पष्ट किया कि प्रशासनिक कारणों से इस मॉक ड्रिल को टाल दिया गया है। साथ ही, यह भी बताया गया कि अभ्यास की अगली तारीख जल्द ही घोषित की जाएगी। केंद्र शासित प्रदेश चंडीगढ़ में भी इस मॉक ड्रिल को स्थगित कर दिया गया है।
एनसीएफबी न्यूज़ संवाददाता के अनुसार, केंद्रीय गृह मंत्रालय के तहत नागरिक सुरक्षा निदेशालय ने हाल के अभ्यासों के बाद देश के संवेदनशील क्षेत्रों में नागरिक सुरक्षा तैयारियों में कई खामियां पाई थीं। 9 मई को मंत्रालय ने राज्यों को इन कमियों को दूर करने के लिए आवश्यक कदम उठाने के निर्देश दिए थे। राजस्थान सरकार के एक प्रवक्ता ने बताया कि प्रशासनिक कारणों से राज्य में गुरुवार को होने वाली मॉक ड्रिल को स्थगित किया गया है। उन्होंने कहा कि नई तारीख की घोषणा जल्द की जाएगी। इससे पहले, नागरिक सुरक्षा विभाग ने राजस्थान के सभी 41 जिलों में ब्लैकआउट और मॉक ड्रिल के लिए दिशा-निर्देश जारी किए थे।

बाड़मेर की जिला कलेक्टर ने दी थी जानकारी

गौरतलब है कि सबसे पहले राजस्थान से इस मॉक ड्रिल की सूचना सामने आई थी। बाड़मेर की जिला कलेक्टर टीना डाबी ने बताया था कि केंद्र सरकार के आदेश पर 29 मई को पाकिस्तान सीमा से सटे जिलों में यह अभ्यास आयोजित किया जाना था। यह मॉक ड्रिल ऑपरेशन सिंदूर का हिस्सा थी, जिसके तहत भारतीय सेना ने 6-7 मई की रात पाकिस्तान और पाकिस्तान के कब्जे वाले जम्मू-कश्मीर में नौ आतंकी ठिकानों को नष्ट किया था। इस कार्रवाई से बौखलाए पाकिस्तान ने भारत के नागरिक और सैन्य ठिकानों पर ड्रोन और मिसाइल हमलों की कोशिश की थी, जिसमें आबादी वाले इलाकों, स्कूलों और धार्मिक स्थलों को निशाना बनाया गया। हालांकि, भारतीय सशस्त्र बलों ने इन हमलों को नाकाम कर दिया।

क्या है मॉक ड्रिल?

बता दें कि मॉक ड्रिल का उद्देश्य युद्ध जैसी स्थिति में महत्वपूर्ण प्रतिष्ठानों की सुरक्षा सुनिश्चित करना और आम नागरिकों की सुरक्षित निकासी की योजना बनाना है। इस दौरान अहम इमारतों और फैक्टरियों की पहचान छिपाने के लिए विशेष उपाय किए जाते हैं, ताकि दुश्मन के विमान इन्हें निशाना न बना सकें। मॉक ड्रिल के दौरान सायरन बजने पर नागरिकों को प्रशासन द्वारा बताई गई सुरक्षित जगहों पर जाना होता है। ब्लैकआउट की स्थिति में घरों की लाइट बंद करनी होती है और घर में ही रहना होता है। इससे पहले, 7 मई को देशभर में मॉक ड्रिल आयोजित की गई थी।

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